चार हाउसिंग सोसायटी का संचालक एक ही व्यक्ति मिलीभगत कर 5 करोड़ रुपए में बेच दिए 16 प्लॉट
भोपाल । सहकारिता विभाग के अभियान में राजधानी की चार सोसायटियों के फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ है। इन सोसायटियों का कर्ता-धर्ता एक ही व्यक्ति है। सहकारिता विभाग को सूचना दिए बिना ही इन सोसायटियों के कार्यालय का पता भी बदल दिया गया। जब इनकी जांच हुई तो इस मामले का खुलासा हुआ। गौरतलब है कि हाल में प्रदेशभर में घपले सामने आए थे जब फील्ड पर गए बिना ही अधिकारियों ने ऑडिट कर दिए थे। बाद में कलई खुलने के बाद सभी को सख्ती के साथ भौतिक सत्यापन करने के निर्देश दिए गए थे।
इसके बाद एक और मामला सामने आया है जिसमें बैठे-बैठे ही पूर्व में ऑडिट कर दिया गया था। इधर, जांच अधिकारी सुधाकर पांडेय को रिपोर्ट सौंपने के बाद गौरव सोसायटी के प्रशासक के पद से हटा दिया गया है। गौरव, महाकाली, गुलाबी और हेमा सोसायटियों का संचालन भी दिनेश त्रिवेदी द्वारा किया जा रहा था। यह भी नियमों का खुला उल्लंघन है। अधिकारियों ने बताया कि त्रिवेदी महाकाली हाउसिंग सोसायटी के पूर्व अध्यक्ष हैं। वर्तमान में वे उपाध्यक्ष हैं। इसी के साथ जो पता महाकाली हाउसिंग सोसायटी का दिया गया है वही गुलाबी हाउसिंग सोसायटी और गौरव हाउसिंग सोसायटी का भी दिया गया है। हेमा और गौरव हाउसिंग सोसायटी का एक पता एफ-आर 1 फोर्थ फ्लोर प्लाॅट नंबर 178 चित्रा कॉम्पलेक्स एमपी नगर का दिया हुआ है।
रोहित समेत 12 हाउसिंग सोसायटियों के पदाधिकारियों पर एफआईआर
गौरव गृह निर्माण का पता एक पता ई 5-13 अरेरा काॅलोनी भी बताया गया है। यहां तीन सोसायटी महाकाली और गुलाबी सोसायटी का संचालन होना भी बताया है।
यहां भी हेर फेर-रिपोर्ट में खुलासा हुआ है कि अनीता बिष्ट हेमा हाउसिंग साेसायटी में उपाध्यक्ष और गौरव गृह निर्माण सोसायटी में अध्यक्ष रही हैं। हेमा सोसायटी में विष्णु पटेल संचालन कर रहे हैं और महाकाली सोसायटी में वर्तमान में अध्यक्ष हैं। इसमें अनीता बिष्ट को प्लाट का आवंटन किया गया है।
किराए के नाम पर दो लाख - गुलाबी सोसायटी के अध्यक्ष ने दिनेश त्रिवेदी को अवैध लाभ पहुंचाने के लिए किराए के नाम पर दो लाख रुपए का भुगतान कर दिया। इसमें त्रिवेदी और दीपेंद्र रघुवंशी मिलकर अनुचित लाभ प्राप्त कर रहे थे। इन्हें 1 अप्रैल 2018 से कार्यालय के नाम पर 8 हजार रुपए प्रतिमाह का भुगतान किया जा रहा था। यह लगभग दो लाख रुपए हो चुका है।
12 सोसायटी पर एफआईआर : धोखाधड़ी के मामलों में उपायुक्त विनोद सिंह ने रोहित गृह निर्माण, कावेरी, आकांक्षा, कामधेनू, पंचसेवा, विशाल सागर, रोशन, स्वजन, शादाब, गौरव, मंदाकिनी समेत 12 गृह निर्माण सोसायटी के पदाधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है।
16 प्लॉटों की राशि का गबन- गौरव गृह निर्माण में बिष्ट और त्रिवेदी ने मिलकर सोसायटी के 16 प्लॉटों कारे पांच करोड रुपए में बेचकर अनुचित लाभ प्राप्त किया। इन्होंने वरियता क्रम का उल्लंघन कर ऊंचे दामों पर प्लाट बेच दिए। इन चारों सोसायटियों के दस्तावेजों के आधार पर यह प्रमाणित हुआ है कि इनका संचालन दिनेश त्रिवेदी कर रहे हैं।
मैंने अभी नहीं देखी जांच रिपोर्ट
मैंने अभी जांच रिपोर्ट नहीं देखी है। कोई भी फेरबदल प्रशासनिक कारणों से हुआ होगा। जांच से उसका कोई वास्ता नहीं है। - विनोद सिंह, उपायुक्त, सहकारिता विभाग
डिटेल रिपोर्ट दी, मुझे क्यों हटाया, पता नहीं
एक ही पते पर सोसायटी संचालन हो रहा है। इनके पीछे दिनेश त्रिवेदी का होना पाया गया है। डिटेल रिपोर्ट दी थी। मुझे क्यों हटाया गया है, यह मुझे नहीं पता। जो काम मुझे साैंपा गया मैंने ईमानदारी से उसे पूरा किया। - सुधाकर पांडेय, जांच अधिकारी, सहकारी संस्थाएं